कोरोना वैश्विक महामारी में सम्पूर्ण भारत में पतंजलि परिवार द्वारा सेवा कार्य

कोरोना वैश्विक महामारी में सम्पूर्ण भारत में पतंजलि परिवार द्वारा सेवा कार्य

कोरोना वैश्विक महामारी में सम्पूर्ण भारत में पतंजलि परिवार द्वारा सेवा कार्य                          भारत एक ऐसा देश है जहाँ स्वास्थ्य सेवाएँ बहुत सीमित मात्रा हैं। संक्रमण से होने वाली बीमारियाँ डेंगू, चिकनगुनिया, मलेरिया, टाइफाइड आदि बीमारियाँ होना स्वाभाविक सी बात है। सरकार द्वारा अनेकों सफाई अभियान चलाने के बाद भी साफ-सफाई तथा हाइजीन की बात तो अभी दूर की कोड़ी है। ऐसे में चीन से फैली कोरोना वायरस रूपी विश्वव्यापी महामारी ने पूरी मानवता को झकझोर दिया है। काम-धंधे,…

कोरोना वैश्विक महामारी में सम्पूर्ण भारत में पतंजलि परिवार द्वारा सेवा कार्य

 

                       भारत एक ऐसा देश है जहाँ स्वास्थ्य सेवाएँ बहुत सीमित मात्रा हैं। संक्रमण से होने वाली बीमारियाँ डेंगू, चिकनगुनिया, मलेरिया, टाइफाइड आदि बीमारियाँ होना स्वाभाविक सी बात है। सरकार द्वारा अनेकों सफाई अभियान चलाने के बाद भी साफ-सफाई तथा हाइजीन की बात तो अभी दूर की कोड़ी है। ऐसे में चीन से फैली कोरोना वायरस रूपी विश्वव्यापी महामारी ने पूरी मानवता को झकझोर दिया है। काम-धंधे, व्यापार, लघु उद्योग तथा कुटीर उद्योग तथा रोजगार अव्यवस्थित हो गए हैं। विकासशील देशों की बात तो दूर, अमेरिका जैसे विकसित देश की आर्थिक व्यवस्था भी चैपट हो चुकी है। लोग एक-दूसरे से मिलने से परहेज कर रहे हैं। काल के गाल ने पूरी मानवता को विनाश की कगार पर लाकर खड़ा कर दिया है। अब तक भारत में कोरोना वायरस से लगभग 55 लाख लोग संक्रमित हो चुके हैं तथा लगभग 88 हजार लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। राहत की बात केवल इतनी ही है कि भारत में रिकवरी रेट अन्य देशों की तुलना में कहीं अधिक तथा मृृत्यु दर बहुत कम है। देश में प्रत्येक व्यक्ति का कोरोना टेस्ट होना सम्भव नहीं है और न ही अब तक कोरोना वायरस की कोई दवा या वैक्सीन बन पाई है। ऐसी विषम परिस्थितियों में जहाँ सब अपनी जान बचाने में लगे हैं वहीं पतंजलि ने इसे चुनौति के रूप में लिया है।

22 मार्च को जैसे ही प्रधानमंत्री माननीय श्री नरेंद्र मोदी जी ने राष्ट्रीय स्तर पर लोकडाउन की घोषणा की, परम पूज्य स्वामी जी महाराज ने सरकार का पूर्ण रूप से सहयोग करते हुए लोगों को घर पर रहने की अपील की। इसके साथ-साथ इलेक्ट्राॅनिक मीडिया में लगभग सभी न्यूज चैनल्स पर विशेष कार्यक्रम आयोजित करके इस कोरोना काल के समय अपने आप को कैसे स्वस्थ रखें, इम्यूनिटी को कैसे बढ़ाए व आॅनलाईन कोरोना बचाव पर मोटिवेशन किया। पतंजलि की सेवापरक गतिविधियाँ संक्रमण काल के प्रारम्भ से लेकर वर्तमान में भी निर्बाध रूप से संचालित की जा रही हैं।

चाहे पीएम केयर्स में 25 करोड़ दान की बात हो या खाद्य सामग्री, सेनेटाइजर तथा औषधियों का निःशुल्क वितरण या कोरोना वायरस की रोकथाम तथा इसके मैनेजमेंट हेतु दिव्य औषधि ‘कोरोनिल किट’ का अनुसंधान, पतंजलि ने अपनी सेवापरक गतिविधियों को कहीं पर भी विराम नहीं लगने दिया।

लोगों के मन में भय व्याप्त था कि काल के इस प्रवास में हम भी नहीं बच पाएंगे, ऐसे में सर्वप्रथम पूज्य स्वामी जी महाराज ने लोगों को यह आत्मविश्वास दिया कि वह योग-प्राणायाम करके कैसे घर पर अपनी इम्यूनिटी को स्ट्रांग कर सकते हैं। उन्होंने अपनी टीवी कार्यक्रमों में लोगों के मन में जागरूकता का संचार किया कि आप अपनी इम्यूनिटी को स्ट्रांग करके कोरोना के संक्रमण से बच सकते हैं। पहली बार पतंजलि ने लोगों को यह विश्वास दिलाया कि यदि संक्रमण हो भी जाए, तो संक्रमण से मुक्ति पायी जा सकती है।

लोगों को आयुर्वेद के प्रति जागरूक करने हेतु जड़ी-बूटी सप्ताह मनाया गया जिसमें परम पूज्य स्वामी जी महाराज के पावन सान्निध्य में देश के 600 से अधिक जिलों, 5,000 से अधिक तहसीलों तथा लगभग 2,00,000 से अधिक गांव में पतंजलि योगपीठ समितियों में कार्यरत लाखों कार्यकर्ताओं ने गिलोय वितरण तथा रोपण अभियान चलाया। इसके अन्तर्गत लोगों को गिलोय के गुण, लाभ तथा इम्युनिटी बढ़ाने में गिलोय की भूमिका की जानकारी लोगों से साझा की गई। अकेले हरिद्वार, ऋषिकेश, रुड़की, देहरादून में सफल अभियान चलाकर एक लाख से अधिक गिलोय वितरित की गई।

पहले लाॅकडाउन तथा फिर अनलाॅक के उपरान्त सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए पतंजलि ने आॅनलाइन सोशल मीडिया के अलग-अलग प्लेटफार्म माध्यम से लोगों को जागरूक किया। साथ ही पूज्य स्वामी जी महाराज ने विविध टीवी चैनलों के माध्यम से लोगों को योग की ओर उन्मुख किया। पूज्य स्वामी जी महाराज व मेरे द्वारा विविध टीवी चैनल के माध्यम से प्रतिदिन 5 से 7 घंटा लोगों को योग-प्राणायाम, घरेलू उपचार, एक्यूप्रेशर, खान-पान से लेकर कोरोना से बचाव व निवारण हेतु ज्ञानवर्धन जानकारी निरंतर देते रहे हैं।

पतंजलि योगपीठ परिवार के अलग-अलग संगठनों के लाखों कार्यकर्ताओं ने कोरोना वारियर्स के रूप में कार्य किया। देश के 600 से अधिक जिलों में पतंजलि परिवार की बहनों ने मास्क तैयार कर निःशुल्क वितरण किया। इन कार्यकर्ताओं ने क्वारंटीन सेंटर्स में जाकर संक्रमित लोगों को योग का प्रशिक्षण दिया। रोगियों को गिलोय का काढ़ा बनाकर पिलाया। लाॅकडाउन के दौरान अपने घरों से दूर निवास कर रहे या नौकरी व काम-धंधे बंद हो जाने के कारण अपने घरों की ओर प्रस्थान कर रहे प्रवासी मजदूर भाई-बहनों को जब भोजन, दवा इत्यादि की किल्लत हुई तो उनकी मदद करने के लिए पतंजलि योगपीठ परिवार के लाखों कार्यकर्ता सामने आए। जब प्रवासी कामगार अपने घर जा रहे थे तो ट्विटर और फेसबुक जैसी सोशल मीडिया साइट्स पर मिली जानकारी पर त्वरित कार्यवाई करते हुए पतंजलि योगपीठ परिवार ने अलग-अलग स्थानों पर हरिद्वार, नोएडा से लेकर मुम्बई तक फंसे लोगों को भोजन एवं राहत सामग्री उपलब्ध कराई। उनके बारे में जैसे ही ट्विटर, फेसबुक पर अपील आती थी कि हम इतने लोग इतने परिवार यहां पर फंसे हुए हैं। हमारे पास खाने-पीने की व्यवस्था नहीं है तो ऐसे परिवारों की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए देश के 600 से अधिक जिलों तथा 5,000 से अधिक तहसीलों में विस्तारित पतंजलि योगपीठ परिवार द्वारा ऐसे हजारों परिवारों के घर जाकर उनको राशन इत्यादि से सहयोग किया गया, इस सेवा कार्य में लोगों के घरों में जाकर आटा, दाल, चावल, चीनी, तेल, साबुन, मसाले, मास्क, सैनिटाइजर इत्यादि की व्यवस्था की गई।

यही नहीं हरिद्वार स्थित नगर निगम क्षेत्र में बढ़ते कोरोना मामलों का संज्ञान लेते हएु तुरंत नगर निगम हरिद्वार को एक टैªक्टर-ट्राॅली को पूरे शहर के सेनेटाइजर से लेकर टैªक्टर के ईंधन तक का सारा खर्च पतंजलि योगपीठ ने वहन किया। साथ ही क्वारंटीन सेंटर्स तथा आइासेलेशन सेंटर्स पर पतंजलि द्वारा निर्मित आयुर्वेदिक औषधियों का निःशुल्क वितरण किया गया। पतंजलि के कई परिसरों को कोरोना रोगियों की सेवा हेतु निःशुल्क उपलब्ध कराया गया। उत्तराखण्ड राज्य सरकार को हरिद्वार स्थित योगग्राम व देवप्रयाग स्थित पतंजलि सेवाश्रम तथा मिर्जा, गुवाहाटी, असम में स्थित अपनी नवनिर्मित भवन युक्त इकाई असम राज्य सरकार को सौंपकर इसे कोरोना रोगियों के लिए एक अस्थायी क्वारंटीन सेंटर बना दिया गया। पूर्वोत्तर के असम राज्य के गुवाहाटी में स्थित पतंजलि परिवार में स्थित क्वारंटीन सेंटर में असम सरकार के थ्पदंदबमए च्संददपदह ंदक क्मअमसवचउमदजण् भ्मंसजी ंदक थ्ंउपसल ॅमसंितमए म्कनबंजपवद कमचंतजउमदजए च्ण्ॅण्क्ण् मंत्री माननीय डाॅ. हेमंत बिस्व शर्मा जी ने दौरा किया। इस अवसर पर उन्होंने पतंजलि द्वारा जनहित में किए जा रहे कार्यों की प्रशंसा की।

पतंजलि के लिए देश व्यापार नहीं अपितु परिवार है। हमने पतंजलि के विविध प्रकल्पों तथा उपलब्ध संसाधनों का प्रयोग सदैव राष्ट्रहित व मानवहित में किया है। पतंजलि से अर्जित लाभांश का 100प्रतिशत मानवसेवा में समर्पित है।

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